नई दिल्ली, 18 अप्रैल 2025: जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) प्रशासन ने एक बड़े संकाय सदस्य को जापानी दूतावास की एक महिला कर्मचारी के यौन उत्पीड़न के आरोप के बाद बर्खास्त कर दिया है। जेएनयू ने यह निर्णय लंबी जांच के बाद लिया है।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, ये घटना कुछ महीने पहले विश्वविद्यालय के एक कार्यक्रम के दौरान हुई थी। विश्वविद्यालय के अधिकारियों ने पुष्टि की है कि यह कोई अकेली घटना नहीं है, क्योंकि प्रोफेसर के खिलाफ पहले भी कई शिकायतें आ चुकी हैं।
जेएनयू के कुलपति शांतिश्री धुलिपदी पंडित ने कहा, “यह प्रशासन यौन उत्पीड़न करने वालों, भ्रष्टाचार करने वालों और भ्रष्ट कर्मचारियों के प्रति शून्य सहनशीलता की नीति के लिए प्रतिबद्ध है।”
जांच में पाया गया कि जापानी दूतावास में काम करने वाली पीड़िता का विश्वविद्यालय के एक कार्यक्रम के दौरान एक संकाय सदस्य द्वारा कथित रूप से यौन उत्पीड़न किया गया था। इसके बाद वह जापान गईं और इस मामले में औपचारिक शिकायत दर्ज कराई। राजनयिकों द्वारा यह मामला भारतीय दूतावास के ध्यान में लाया गया। इसके बाद इसे विदेश मंत्रालय और विश्वविद्यालय को भेज दिया गया।
मामले की जांच के बाद आंतरिक शिकायत समिति ने लगाए गए आरोपों को सही पाया। इसके बाद कार्यकारी परिषद ने बर्खास्तगी की सिफारिश की। अभियुक्त को विश्वविद्यालय की अपील समिति के समक्ष अपील करने तथा अदालत जाने का अधिकार है।
इसके साथ ही जेएनयू के पर्यावरण विज्ञान विभाग के एक अन्य संकाय सदस्य को एक शोध परियोजना में भ्रष्टाचार के आरोपों के बाद बर्खास्त कर दिया गया। अब यह मामला केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) को सौंप दिया गया है।
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