नोएडा, 14 मई 2025: मोदी सरकार ने उत्तर प्रदेश के जेवर में भारत की छठी सेमीकंडक्टर इकाई को मंजूरी दे दी है, जो भारत के सेमीकंडक्टर मिशन के तहत एक महत्वपूर्ण कदम है। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कैबिनेट के फैसले की जानकारी देते हुए बताया कि यह इकाई HCL और फॉक्सकॉन के संयुक्त उपक्रम के तहत स्थापित होगी और इसका निर्माण यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (YEIDA) क्षेत्र में जेवर हवाई अड्डे के पास होगा।
अब तक सेमीकंडक्टर के पांच इकाइयों को मिली मंजूरी
वैष्णव ने बताया कि भारत में सेमीकंडक्टर मिशन के तहत अब तक पांच इकाइयों को मंजूरी मिल चुकी है, जिनका निर्माण तेजी से चल रहा है। इनमें से एक इकाई में इसी साल 2025 में उत्पादन शुरू होने की उम्मीद है। जेवर की नई इकाई में 3,706 करोड़ रुपये का निवेश होगा, और यह प्रति माह 20,000 वेफर्स और 3.6 करोड़ डिस्प्ले ड्राइवर चिप्स का उत्पादन करेगी। ये चिप्स मोबाइल फोन, लैपटॉप, ऑटोमोबाइल, पीसी और अन्य उपकरणों में उपयोग होंगे। इस इकाई से 2,000 लोगों को रोजगार मिलेगा, और उत्पादन 2027 से शुरू होगा।
यह उद्योग पूरे देश में हो रहा विकसित- अश्विनी वैष्णव
उन्होंने कहा कि सेमीकंडक्टर उद्योग अब पूरे भारत में तेजी से विकसित हो रहा है। कई राज्यों में विश्व स्तरीय डिजाइन सुविधाएं स्थापित हो चुकी हैं, और 270 शैक्षणिक संस्थानों व 70 स्टार्टअप्स में छात्र और उद्यमी नवीनतम डिजाइन तकनीकों पर काम कर रहे हैं। लैपटॉप, मोबाइल, सर्वर, मेडिकल उपकरण, रक्षा उपकरण और कंज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स की बढ़ती मांग के साथ सेमीकंडक्टर की जरूरत भी बढ़ रही है।
यह परियोजना उत्तर प्रदेश के लिए भी खास है, क्योंकि यह राज्य में पहली OSAT (आउटसोर्स्ड सेमीकंडक्टर असेंबली और टेस्ट) इकाई होगी। HCL की नोएडा में मुख्यालय होने के कारण यह स्थान रणनीतिक रूप से चुना गया, और फॉक्सकॉन की वैश्विक विशेषज्ञता इसे और मजबूत बनाएगी।
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