नई दिल्ली , 27 जनवरी 2025: सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय की सेवानिवृत्त जज न्यायमूर्ति जयश्री ठाकुर को 30 जनवरी को होने वाले चंडीगढ़ मेयर चुनाव (Chandigarh mayoral election) के लिए स्वतंत्र पर्यवेक्षक नियुक्त किया। न्यायमूर्ति सूर्यकांत और न्यायमूर्ति एन कोटिश्वर सिंह की पीठ ने दोनों पक्षों की सहमति का हवाला देते हुए यह निर्णय लिया। कोर्ट ने आदेश दिया कि चुनाव की प्रक्रिया पर्यवेक्षक की उपस्थिति में आयोजित की जाए और इसकी वीडियोग्राफी की जाए।
कोर्ट ने फैसले मे क्या कहा :
इसके अलावा, पीठ ने मेयर चुनाव के रिटर्निंग अधिकारी को आदेश दिया कि वे पूर्व न्यायाधीश से संपर्क कर चुनाव की तिथि से पहले उनके साथ समन्वय करें। कोर्ट ने यह भी कहा कि पर्यवेक्षक को एक लाख रुपये का मानदेय मिलेगा, जिसे चंडीगढ़ प्रशासन एक सप्ताह के भीतर अदा करेगा और सभी आवश्यक सुरक्षा इंतजाम किए जाएंगे।
चंडीगढ़ मेयर कुलदीप कुमार की ओर से पंजाब के महाधिवक्ता गुरमिंदर सिंह ने सेवानिवृत्त उच्च न्यायालय के न्यायाधीश को स्वतंत्र पर्यवेक्षक के रूप में नियुक्त करने का प्रस्ताव दिया था, जिसे अदालत ने स्वीकार किया। हालांकि, चंडीगढ़ प्रशासन का प्रतिनिधित्व कर रहे सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने इस निर्णय पर कोई आपत्ति नहीं जताई, लेकिन उन्होंने इस बात का ख्याल रखने की सलाह दी कि यह एक मिसाल ना बने, जिससे अन्य नगर निगम भी सर्वोच्च न्यायालय का रुख करने लगें।
पीठ ने यह भी स्पष्ट किया कि उनका मुख्य उद्देश्य चुनाव प्रक्रिया की निष्पक्षता और पारदर्शिता सुनिश्चित करना था, न कि अधिकारियों की स्वतंत्रता पर कोई सवाल उठाना।
पिछले बार का चुनाव विवादों मे रहा था
यह मामला पिछले साल फरवरी में हुए विवादास्पद मेयर चुनाव (Chandigarh mayoral election) से जुड़ा है, जिसमें भाजपा के उम्मीदवार अप्रत्याशित रूप से विजेता घोषित हुए थे। बाद में सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव परिणाम को पलटते हुए कुलदीप कुमार को मेयर घोषित किया और रिटर्निंग अधिकारी के खिलाफ कदाचार का आरोप लगाया।
सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद अब 30 जनवरी को होने वाला मेयर चुनाव स्वतंत्र पर्यवेक्षक की निगरानी में होगा, जो चुनाव प्रक्रिया की निष्पक्षता सुनिश्चित करेगा।
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