पटना, 19 मार्च: बिहार में विधानसभा चुनाव नजदीक हैं, और इसी बीच राष्ट्रीय जनता दल (RJD) प्रमुख एवं पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव की मुश्किलें बढ़ती दिखाई दे रही है। प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने ‘जमीन के बदले नौकरी’ घोटाले में कार्रवाई तेज कर दी है। मंगलवार को ED ने लालू यादव की पत्नी और बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी और उनके बड़े बेटे तेज प्रताप यादव को समन भेजकर पूछताछ के लिए बुलाया था। अब आज लालू यादव भी ED दफ्तर पहुंचे है। यह पूछताछ पटना के ED जोनल ऑफिस में हो रही है।
क्या है ‘जमीन के बदले नौकरी’ घोटाला?
यह मामला उस कथित घोटाले से जुड़ा है, जिसमें लालू प्रसाद यादव के परिवार पर आरोप है कि उन्होंने रेलवे मंत्री रहते हुए लोगों को सरकारी नौकरी देने के बदले उनकी जमीनें लीं। इस घोटाले में मनी लॉन्ड्रिंग के भी आरोप हैं। 2024 में इस मामले में दिल्ली की अदालत में आरोप पत्र दाखिल किया गया था, जिसमें लालू यादव की पत्नी राबड़ी देवी, बेटी मीसा भारती और हेमा यादव सहित अन्य लोगों को आरोपी बनाया गया था।
ED की कार्रवाई और पूछताछ
मंगलवार को राबड़ी देवी पटना स्थित ED दफ्तर पहुंचीं, जहां उनसे कई घंटों तक पूछताछ की गई। इसके बाद तेज प्रताप यादव को भी तलब किया गया। अब बुधवार को लालू प्रसाद यादव समेत अन्य परिजनों को पेश होने के लिए कहा गया है। सूत्रों के मुताबिक, ED इन सभी से प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (PMLA) के तहत पूछताछ कर रही है और बयान दर्ज कर रही है।
इस मामले में ED की बढ़ती सख्ती ने बिहार की राजनीति को गरमा दिया है। विधानसभा चुनावों से पहले यह मामला RJD के लिए बड़ी चुनौती बन सकता है। इस बीच, लालू के ED दफ्तर आने के बाद समर्थकों ने ED दफ्तर के बाहर प्रदर्शन किया और नारेबाजी की।
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